क्षेत्रीय विकास की रूपरेखा
शहरों के मुकाबले भारत के गाँव अधिक पिछड़ेपन का शिकार होते जा रहे हैं। हमे यह भी स्वीकार करना होगा कि भारत की अधिकांश जनसंख्या गाँव मे निवास करती हैं क्योंकि देश की अर्थव्यवस्था कृषि पर निर्भर करती हैं। गाँव किसी शहर की अपेक्षा कम जनसंख्या रखते हैं परन्तु क्षेत्रफल की दृष्टि से छोटे शहरों के समान हैं। क्षेत्रफल समान रूप से बराबर है लेकिन शहरों के मुकाबले गाँवो तक विकास नही पहुँच रहा हैं। विकास ना पहुँचने के अनेक कारण भी शामिल हैं लेकिन मेरा मानना है कि आर्थिक विकास दर गाँव मे कमी होती जा रही है। जिसका परिणाम यह है कि भारत के गांव में निवास करने वाले लोग गरीबी रेखा से दूर नहीं है क्योंकि शहरों के मुक़ाबले गाँव मे ऊर्जा की खपत आजादी के दौरान से कम रही हैं। शहरों में ऊर्जा की खपत अधिक होने के कारण विकास अधिक लोगों तक पहुंच गया है, विकास के मामले में सरकार का भी दोहरा चरित्र शुरू से ही रहा हैं। विश्व का आर्थिक विकास ऊर्जा की बढ़ती खपत रहा है। हाल ही में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री ने उत्तर प्रदेश के किसानों का आभार प्रकट किया हैं उत्तर प्रदेश दूध व अन्य जैसे गेंहू, गन्ना,आलू आम के उत्पादन